15 Quotes / Sadhguru Hindi / Part 17

  • आप खुद को विचारों और भावनाओं से जितना ज्यादा मंडित करते हैं, आप जीवन से उतने ही दूर चले जाते हैं।

  • सत्य का खोजी होने का मतलब है – जो चीजें आप नहीं जानते हैं, उनके बारे में कोई धारणा बनाना बंद कर दें।

  • जीवन जबरदस्ती अपना रास्ता खोज निकालने के बारे में नहीं है। जीवन तो है कि इसे घटित होने दें और खुद के माध्यम से व्यक्त होने दें।

  • इस धरती की सारी समस्याओं की एक ही बुनियाद है – बेताल मनुष्य, ऐसे मनुष्य जिनका किसी भी चीज़ के साथ तालमेल नहीं बैठता।

  • हर वो चीज़ जो गतिमान है, एक-न-एक दिन खुद को खत्म कर लेती है। जो अचल है, वही सदा बना रहता है।

  • अगर आप ‘खुद’ से भरे हुए हैं, तो जीवन आपको मसलेगा ही। इसके अलावा कोई और इलाज नहीं है।

  • आपका जीवन और आप इसे कैसे अनुभव करते हैं – यह सब पूरी तरह से आपकी रचना है। जब यह बात आपको पूरी तरह समझ आ जाती है, सिर्फ तभी आप बदलने के लिए तैयार होंगे।

  • भारत एक काफी संगठित अव्यवस्था है, और यही इसकी ताकत है।

  • लोगों को अपने जीवन अपनी खास जरूरतों के मुताबिक ढालने चाहिएं, न कि समाज के चलन के अनुसार।

  • असल में ध्यान का अर्थ है, अनुभव के स्तर पर यह एहसास होना कि आप कोई अलग इकाई नहीं हैं – आप एक ब्रह्मांड हैं।

  • नेताओं को लोगों के आगे खड़े होकर बाधा नहीं बनना चाहिए। उन्हें उनके पीछे रहकर उनका साथ देना चाहिए।

  • अगर आप कोई अच्छीक चीज देखते हैं, तो आपको उसे विकसित करना चाहिए – चाहे वो आपके भीतर हो या आपके आसपास हो।

  • सच्ची खुशहाली को अनुभव करने का सिर्फ एक ही तरीका है – अपने भीतर की ओर मुड़ना। योग का यही अर्थ है – ऊपर नहीं, बाहर नहीं, बल्कि अंदर। बाहर निकलने की एकमात्र राह अंदर की ओर है।

  • समय रुपया-पैसा नहीं है। समय जीवन है।

  • अगर आप अपने दिमागी कचरे के ढेर पर खड़े हैं, तो आपके पैर कभी जमीन पर नहीं आएंगे।

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